बुंदेलखंड के इस अंचल में लगातार*
रिपोर्ट मुहम्मद ख्वाजा
टीकमगढ़ :जिले के जतारा* :किसानों का खेती से मोहभंग हो रहा है, कभी सुख तो कभी अधिक बारिश से लगातार किसानों की फसलें खराब होने से किसानों को खेती में घाटा हो रहा है। हाल ही में बारिश के चलते फसलों खराब होने से पीड़ित किसानों ने अंतरराष्ट्रीय मानव अधिकार सुरक्षा संगठन के नेतृत्व में मुख्यमंत्री के नाम जतारा तहसीलदार को एक ज्ञापन सौपा है। जिसमें उन्होंने उल्लेख किया है कि बारिश से खेतों में खड़ी फसल मूंग, उर्द, मूंगफली के नुकसान होने के कारण किसानों को फसल क्षतिपूर्ति (मुआवजा) देने की मांग की। उन्होंने यह भी उल्लेख कि वर्तमान में खरीफ की फसल जो सितम्बर के अंतिम सप्ताह में आने वाली होती है, प्रकृति की मार ने किसानों की खड़ी फसल को काफी नुकसान पहुंचा दिया। किसानों की फसल सड़ रही हैं किसानों के खेतों मे खड़ी एवं कटी फसल उड़द, तिल, मूंगफली की फसल बर्बाद हो गई है। जबकि फसल कटने का समय आ गया था, परन्तु तेज बारिश के कारण किसानों की फसल बर्बाद होने पर किसान कंगाली की ओर है। क्योंकि फसल की लागत तो दूर है, जो फसल सड़ गई हैं, उसे खेतों से निकलने में श्रम और धन दोनों लग रहे है।किसानों का साक्षत्कार करके मालूम हुआ कि अब तो किसान एक एक दाना के लिए परेशान है। क्योंकि अगली फसल के लिये तालाबों में पानी नहीं आया एवं खरीफ की फसल पूर्णतः नष्ट हो गयी। शासन से मांग है कि क्षतिग्रस्त फसल का सही आकलन करके फसल राशि दिलायी जाये, सिर्फ कागजी घोड़ा न दौड़ाया जाये, किसानों को उनका हक दिलाये जाने की मांग की है। ज्ञापन देने वालों में संगठन के प्रदेश प्रमुख सचिव रामरतन दीक्षित, जिला अध्यक्ष दशरथ प्रसाद विश्वकर्मा, अनिल रिछारिया, प्रेमनारायण शर्मा, दीनदयाल,रमेश शर्मा प्रदेश मीडिया प्रभारी ,मुहम्मद ख्वाजा तहसील अध्यक्ष पलेरा,चौवे, आदि लोग मौजूद रहे ।।